सराज(मंडी)
सराज बगस्याड के ओमप्रकाश द्बारा बनाया ई- चूल्हा एक बहेतरीन हाईटेक मॉडिफाई चूल्हा बनवाया गया है ।यह ईंट और चिकनी मिटी(गारे) से पारमपारिक चूल्हे की तरह दिखता है परन्तु यह एक बिल्कुल अत्याधुनिक खासियतों से लैस हाईटैक है। इस चूल्हे में ईंधन के रुप में लकड़ी,गोबर के उपले, कोयला, चलारू(Needle leaf) इत्यादि का इस्तेमाल किया जा सकता है। इस चूल्हे को इतना हाईटैक बनाया गया है कि इसमें धुएं को एक बिधुत स्विच द्वारा नियंत्रित किया जाता है। इसके फायर प्वाइंट को भी विधुत स्विच द्वारा खोला या बन्द किया जाता है,साथ ही इसमें फायर को बूस्ट करने के एक पंखा लगाया गया है। आग को बुसट करने के लिए पंखे के द्वारा हवा दी जाती है जिससे हवा में मौजूद आक्सीजन के कारण आग तेजी से बूस्ट होती है। इसमें हवा को भी इलैक्ट्रिकल तरीके से कंट्रोल किया जाता है,इसके इलैक्ट्रिकल सिस्टम के कारण इसका नाम ई-चूलहा रखा गया । यह धुआं रहित और तेजी से चलने वाला है। जानकारी के अनुसार ईंट और मिटी से इसे इसलिए बनाया है क्योंकि इसका तापमान अत्याधिक हो जाता है जिससे सिर्फ मिटी और ईंट ही सहन कर सकती है,ईंट और गारे के कारण इसके रुप को बदलना आसान रहता है।
जैसे मौजूदा समय में ओमप्रकाश ने ई- चूल्हा बनाया है जिसे विधुत और मैनूयल दोनों तरीकों से चलाया जा सकता है ।
बता दें ओमप्रकाश पेशे से एक सेब का बागवान है परन्तु ये शौक के तौर पर और अपने खाली समय में नई नई तकनीक ईजाद करता रहता है। बता दें कि इनके द्वारा बनाई तकनीकों मे-टोपी, ई- विस्फोटक प्रणाली ,मोबाइल विधुत कन्ट्रोल सिस्टम इत्यादि प्रमुख है।